Lung Most cancers Early Signs: लंग कैंसर यानी फेफड़ों का कैंसर दुनिया में तेजी से फैल रही जानलेवा बीमारियों में से एक है. प्रदूषण बढ़ने के कारण इस बीमारी के होने का जोखिम भी बढ़ा है. लंग कैंसर तब होता है, जब फेफड़ों में कोशिकाएं अनियंत्रित रूप से बढ़ने लगती हैं. यह बीमारी पुरुष या महिला, किसी को भी हो सकती है और किसी भी उम्र में हो सकती है. इस बीमारी का इलाज तभी संभव है जब इसके शुरुआती लक्षणों की पहचान कर ली जाए और समय से डॉक्टर को इसके बारे में पता चल जाए. यह सभी तब संभव है जब इस बीमारी के बारे में आप जागरूक हों और इसके लक्षणों को गंभीरता से लेते हों. इस लेख में जानें लंग कैंसर के शुरुआती लक्षण और इस बीमारी से बचाव के तरीकों के बारे में.
फेफड़ों का कैंसर – लक्षण, कारण, उपचार और रोकथाम | Lung most cancers – Signs and causes
लंग कैंसर क्या है (What’s Lung Most cancers)
फेफड़ों में असामान्य सेल्स, जो अनियंत्रित रूप से बढ़ने लगते हैं. अभी तक दुनिया भर में उन लोगों को लंग कैंसर होते देखा गया था जो धूम्रपान करते हैं. पर पिछले कुछ समय से नॉन-स्मोकर्स यानी धूम्रपान न करने वालों को ये बीमारी हो रही है. इसका कारण है प्रदूषण स्तर का अत्यधिक बढ़ना.
कैंसर के शुरुआती लक्षण (Early Signs of Lung Most cancers)
सांस लेने में तकलीफ होने लगती है. यह शुरुआती संकेत है. यह तकलीफ खास तौर पर तब होती है जब ज्यादा शारीरिक गतिविधि कर रहे हों जैसे खेलना, सीढ़ियां चढ़ना, तेज चलना, भागदौड़ करना, अत्यधिक व्यायाम करना आदि. मरीज को लंबे समय से खांसी होती है जो जाती ही नहीं. बार-बार वापिस आ जाती है.
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कई बार खांसी के साथ खून भी आ सकता है. बाकी सभी कैंसर की तरह इस कैंसर के शुरुआती स्तर में ही शरीर के वजन पर असर दिख सकता है. बिना किसी ठोस कारण के वजन तेजी से कम हो सकता है. इम्यूनिटी वीक हो सकती है. जैसे बार-बार सर्दी-जुकाम हो जाना या निमोनिया होना. मरीज की भूख में असर दिख सकता है, भूख में कमी महसूस हो सकती है.
कैसे करें बचाव (Find out how to remedy Lung Most cancers)
लंग कैंसर ना हो इसके लिए यह जरूरी है कि इस कैंसर के लिए जो जोखिम कारक जिम्मेदार हैं, उनसे सतर्क रहा जाए. इन टिप्स की मदद से आप अपना व परिवार का बचाव कर सकते हैं-
- सबसे पहले जरूरी है कि धूम्रपान की आदत है तो उसे छोड़ दें. यह लंग कैंसर को बुलावा देना है.
- स्वस्थ जीवनशैली अपनाएं. आहार में मौसमी फल-सब्जियों का सेवन करें.
- अधिक वजन या मोटापा नहीं होना चाहिए. सुबह-शाम वॉक करें, योग-ध्यान, एक्सरसाइज को रूटीन में शामिल करें.
- लंग कैंसर की फैमिली हिस्ट्री हो तो अधिक सतर्क रहें. नियमित अंतराल पर ब्लड टेस्ट, पेशाब की जांच व फेफड़ों की जांच कराते रहें.
- एलर्जी हो तो इस बात का ध्यान रखें कि सांस लेने में तकलीफ तो नहीं है.
- हाई बीपी वाले लोग समय-समय पर जांच कराते रहें.
- प्रदूषण के समय में सावधान रहें, बाहर निकलने से बचें, एयर प्यूरीफायर का प्रयोग करें.
(अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें. एनडीटीवी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.)
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